Thursday, October 14, 2010

नाम,काम और पहचान

Meri New Kavita:

नाम है तेरा, नाम है मेरा,
लेकिन नाम मे रखा ही क्या,
जब नाम न लेने वाला ना हो कोई तेरा मेरा|

किसी के आगे स्टार है,
तो किसी के आगे महा स्टार है,
किसी के नाम के आगे खिलाड़ी है,
तो कोई खिलाड़ियो का खिलाड़ी है|

एक है ऐसे लोगो का नाम,
जिनके नाम है इस देश की पहचान,
जैसे गाँधी, नेहरू,भगत सिंह, पटेल,
एक है हम जैसे लोगो का नाम,
जिनकी नही है कोई पहचान|

कुछ नाम ऐसे होते है,जिनके नाम लेते ही,
मन मे एक पहचान प्रकट हो जाती है,
कुछ नाम ऐसे होते है,
जिनके नाम को सुनकर घ्रणा हो जाती है|

पर आजकल नाम बदनामी के ही ज़्यादा होते है,
लोग बदनामी वाले नाम से डरते नही,
बदनामी वाले नामो को ही गले लगाते है|

इसलिए नाम के आगे ना भागो,
अच्छे काम के आगे भागो,
दुनिया मे ऐसा काम कर दो,
की दुनिया नाम सदा याद रखे तुम्हारा|

तभी तो कवि "अभिषेक" कहते है,
प्यारे अपने नाम इतना उचा रखो की,
हिमालय पर्वत भी छू ना सके ,
इतना चमकदार नाम बनाओ की,
सूरज की रोशनी भी फीकी पड़ जाए|

महेंद्र सिंह उत्तराखंडी (अभिषेक),

1 comment:

  1. Are Gandhi and Nehru woerthy of being compared to Shaheede azam and patel

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